ये हवाएँ कभी चुपचाप चली जाएँगी,
लौट के फिर कभी गुलशन में नहीं आएँगी।
लौट के फिर कभी गुलशन में नहीं आएँगी।
- 'हिमालय की गोद में' फिल्म के एक गीत से
जिन्दगी के सफ़र में गुजर जाते हैं जो मकाम,
वो फिर नहीं आते।
- 'आप की कसम' फिल्म का एक गीत